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रीवा में ग्रामीणों का नारा …रोड नहीं तो वोट नहीं… चारपाई पर ढोए जा रहे मरीज सरकार सहित विधायक मुर्दाबाद के लगे नारें…

बारिश के चलते बधित हुआ गांव का पहुंच मार्ग, गांव के भीतर एम्बुलेंस ना पहुंच पाने से ग्रामीणों को फूटा आक्रोश…
तेज खबर 24 रीवा।
मध्यप्रदेश सरकार भले ही प्रदेश की सड़कों की तुलना अमेरिका की सड़कों से करती हो लेकिन जमीनी हकीकत तो यह है कि प्रदेश में आज भी कई ऐसे गांव है जहां जाने के लिये पहुंच मार्ग तक नहीं है। सड़कों को लेकर प्रदेश सरकार के दावों की पोल खोल देने वाला मामला रीवा में उस वक्त उजागर हुआ जब बारिश के चलते गांव का पहुंच मार्ग बधित हो जाने के कारण ग्रामीण मरीज को चारपाई में लिटाकर मुख्य मार्ग तक ले जाने को मजबूर हो गए। आक्रोशित ग्रामीणों ने सड़क के लिये ना सिर्फ सरकार व क्षेत्रीय विधायक के खिलाफ मुर्दाबाद के नारे लगाए बल्कि रोड नहीं तो वोट नहीं का नारा भी दे डाला।


दरअसल यह मामला जिले के मनगवां विधानसभा क्षेत्र के नईगढ़ी जनपद पंचायत अंतर्गत बंधवा गांव का है जहां सड़क की हालत इतनी खराब है कि यहां पैदल चलना भी मुश्किल है। बताया गया कि गांव के एक व्यक्ति की तबियत बिगड़ने पर एम्बुलेंस को बुलाया गया लेकिन सड़क की हालत बदतर होने के कारण एम्बुलेंस गांव के अंदर नहीं पहुंच पाई, ऐसे में मरीज को चारपाई में लिटाकर कंधों के सहारे मुख्य मार्ग तक ले जाना पड़ा।


ग्रामीणों का कहना है कि रोड नहीं तो वोट नहीं है। उन्होंने चेतावनी देते हुये कहा कि अगर इस बार सड़क का निर्माण कार्य नहीं होता है तो हम सब लोग चुनाव का बहिष्कार करेंगे, साथ ही ग्रामीणों ने यह भी कहा कि यहां पर कोई भी सत्ता पक्ष के नेता को तब तक नहीं आने दिया जाएगा जब तक सड़क का निर्माण कार्य नहीं हो जाता है।
स्थानीय निवासी गिरजेश ने बताया कि इस सड़क का निर्माण सन् 1980 में हुआ उसके बाद इस सड़क में ना तो एक भी ट्राली मोरम पड़ी और ना ही गिट्टी जिसकी वजह से सड़क की हालत अब इतनी बदतर है कि इसमें पैदल भी निकलना मुश्किल हो गया है।


ग्रामीणों की मांग है कि तत्काल इस मार्ग को प्रधानमंत्री सड़क में जोड़ा जाए और प्रधानमंत्री सड़क में इसका निर्माण कार्य कराया जाए। ग्रामीणों ने कहा कि जब तक इस सड़क का निर्माण कार्य नहीं हो जाता है यहां भारतीय जनता पार्टी के किसी भी नेता को घुसने नहीं दिया जाएगा और इस बार होने वाले विधानसभा चुनाव क बहिष्कार किया जाएगा।

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