Site iconSite icon Tezkhabar24.com

जानिए संजय त्रिपाठी व अंशुल मिश्रा ने राजनिवास रेपकांड के आरोपी महंत की कैसे की थी मदद, पुलिस ने भोपाल से गिरफ्तार कर भेजा जेल…

अंशुल मिश्रा ने एलॉट कराया हिस्टीशीटर विनोद पाण्डेय के नाम राजनिवास का कमरा,,,
तेज खबर 24 रीवा।


रीवा सहित प्रदेश के बहुचर्चित राजनिवास रेपकांड में पुलिस ने ब्र्राम्हण महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष संजय त्रिपाठी व उनके भांजे अंशुल मिश्रा को भोपाल से गिरफतार किया है। जबकि रीवा के गुढ़ से तौहीद अंसारी नाम के युवक को भी गिरफतार किया है। उक्त सभी आरोपियों पर आरोप है कि इनके द्वारा रेपकांड के मुख्य आरोपी कथित महंत सीताराम दास की फरार होने में मदद की थी। वहीं राजनिवास में कमरा एलॉट को लेकर उठ रहे सवालों पर विराम लगाते हुये अंशुल मिश्रा द्वारा कमरा एलॉट कराना बताया गया है लेकिन यह स्पष्ट नहीं किया गया कि अंशुल के कहने किसने और किस बिनाह पर कमरा एलॉट कर दिया। फिलहाल उक्त सभी आरोपियों को सिविल लाइन पुलिस द्वारा न्यायालय में पेश कर न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया है।

भोपाल से गिरफ्तार हुए मामा भांजे संजय और अंशुल
रेपकांड के मुख्य आरोपी महंत सीताराम की मदद करने के आरोप में पुलिस ने संजय त्रिपाठी और अंशुल मिश्रा को राजधानी भोपाल से गिरफ्तार किया है। शुक्रवार की देर शाम भोपाल में हुई गिरफ्तारी के बाद आरोपियों को रीवा पुलिस की टीम देर रात भोपाल से रीवा लेकर पहुंची जिन्हें सुरक्षार्थ शहर के अलग अलग थानो में रखा गया था। पुलिस ने आरोपियों से की गई पूछताछ के बाद उनके विरुद्ध अपराध दर्ज कर न्यायालय में पेश करते हुये न्यायिक अभिरक्षा में जेल भेज दिया है।

वारदात के बाद संजय त्रिपाठी के फार्म हाउस में रुका था आरोपी महंत
पुलिस कंट्रोल रुम की ओर से जारी की गई विज्ञप्ति में बताया गया है कि संजय त्रिपाठी ने दुष्कर्म के आरोपी महंत सीताराम को घटना के बाद अपने घर में छिपाकर रखा था। पुलिस की मांने तो 28 मार्च की रात राजनिवास में घटना को अंजाम देने के बाद आरोपी महंत सीधा संजय त्रिपाठी के पास पहुंचा था जिसे संजय त्रिपाठी नें पूरी रात अपने फार्म हाउस में रखा और 29 मार्च की सुबह संजय त्रिपाठी की फार्च्यूनर कार से दुआरी बायपास पहुंचाया जाता है। इसके बाद महंत बाबा मोनू प्यासी नाम के युवक के साथ भितरी गांव चला जाता है।

अंशुल मिश्रा ने हिस्ट्रीशीटर को कमरा दिलाने में की थी मदद
मामले में अंशुल मिश्रा की गिरफ्तारी को लेकर बताया गया है कि अंशुल ने राजनिवास में हिस्ट्रीशीटर को कमरा दिलाने में मदद की थी जहां हिस्ट्रीशीटर द्वारा बुलाई गई लड़की के साथ महंत बाबा ने दुष्कर्म की वारदात को अंजाम दिया है। पुलिस ने यह तो स्पष्ट कर दिया कि विनोद पाण्डेय को राजनिवास में कमरा दिलाने में मदद की थी लेकिन अब तक यह साफ नहीं किया है कि अंशुल के कहने पर किसने और क्यों कमरा एलॉट कर दिया। फिलहाल कमरे का एलॉट करना अभी भी रहस्य बना हुआ है।

तौहीद अंसारी ने बाबा को दिए थे 10 हजार रुपए और सीधी तक पहुंचाया
पुलिस द्वारा गिरफ्तार किए गए तीसरे आरोपी तौहीद अंसारी की भूमिका भी आरोपी महंत के मददगार के रुप में पाई गई है। पुलिस के मुताबिक 30 मार्च को गुढ़ निवासी तौहीद अंसारी ने आरोपी महंत से भितरी गांव में मिला। यहां आरोपी तौहीद ने महंत बाबा को खर्च के लिये 10 हजार हजार रुपए दिए और उसे बाइक से सीधी तक पहुंचाया था जहां से बाबा बस में सवार होकर सीधी से सिंगरौली पहुंचा था।

Exit mobile version