एसपी ने अफवाहों से बचने की अपील, संदिग्धों को पकड़कर पीटने की बजाय पुलिस को दें सूचना…
तेज खबर 24 रीवा।
रीवा जिलें में इन दिनों बच्चा चोर गिरोह लेकर एक अफवाह फैली हुई है। अफवाह है कि गिरोह के लोग बच्चों को उठाकर ले जाते है, हालांकि इस तरह की घटना की अब तक पुष्टि नहीं हुई है लेकिन बच्चा चोरी के शक में लोगों को पकड़कर बंधक बनाकर पीटने की घटनाएं जरुर सामने आई है। बता दें कि एक सप्ताह के भीतर जिले के अलग अलग थाना क्षेत्रों में बच्चा चोरी के शक में मारपीट के 4 मामले प्रकाश में आ चुके है। पुलिस ने इन मामलों में कायमी कर जांच भी की है लेकिन अब तक यह सब महज एक अफवाह ही साबित हुई है।
फिलहाल एसपी नवनीत भसीन ने जिले वासियों से अपील करते हुए अफवाहों से बचने की सलाह दी है और किसी भी प्रकार के संदिग्ध व्यक्ति के नजर आने पर उसके साथ मारपीट करने की बजाय नजदीकी थाने की पुलिस को सूचना देने की बात कही है।
एसपी ने कहा कि अगर कोई भी संदिग्ध व्यक्ति कहीं नजर आता है या घूमते हुए दिखता है तो उसके साथ किसी भी प्रकार की क्रूरता या मारपीट न करे बल्कि उसके संबंध में संबंधित थाने या पुलिस कंट्रोल रूम को सूचित करे, जिसके बाद पुलिस खुद उस युवक को थाने लाकर पूछताछ कर उसके संबंध में जानकारी एकत्रित कर लेगी।
अब तक यहां हो चुकी है घटनाएं
जानकारी के मुताबिक 1 सप्ताह के दौरान रीवा जिले के गुढ़, चाकघाट, मऊगंज व चोरहटा थाना क्षेत्र में बच्चा चोरी की अफवाह से जुड़े मामले प्रकाश में आ चुके हैं। पहली घटना गुढ़ के महसांव में हुई जहां एक युवक को बिजली के खंभे से बांधकर पिटाई कर दी गई थी। दूसरी घटना चाकघाट में हुई जहां रास्ता भटके एक युवक को बच्चा चोर के संदेह में पीट दिया गया था जबकि चोरहटा थाना क्षेत्र में एक विद्यालय पहुंचे दो बाइक सवार युवकों को बंधक बना लिया गया था वहीं मऊगंज पुलिस को एक किशोर ने खुद के अपहरण किए जाने की कहानी बताई थी लेकिन अब तक इन चारों ही मामलों में पुलिस द्वारा की गई जांच के दौरान किसी भी मामले में बच्चा चोरी या अपहरण जैसे कोई भी सच्चाई सामने नहीं आई है।
पुलिस को सूचित कर अप्रिय घटना से बचे
एएसपी अनिल सोनकर ने बताया कि सभी मामलों की पुलिस जांच कर रही है अब तक जो तथ्य सामने निकल कर आए हैं उसके मुताबिक किसी भी मामले में बच्चा चोरी या अपहरण जैसी बातें सामने नहीं आई हैं। उन्होंने कहा कि अगर किसी को संदिग्ध युवक दिखते हैं तो उनके संबंध में पुलिस को सूचित करें ना कि खुद ही कुछ कदम उठाएं जिससे किसी भी प्रकार की अप्रिय घटना ना हो सके।